नहीं रहे अमिताभ बच्चन के हमशक्ल फिरोज खान, ये है फिरोज खान से अमिताभ बच्चन बनने की कहानी Amitab Bacchan
नहीं रहे अमिताभ बच्चन के हमशक्ल फिरोज खान, ये है फिरोज खान से अमिताभ बच्चन बनने की कहानी
फिरोज खान |
बॉलीवुड के शहंशाह अमिताभ बच्चन के हमशक्ल फिरोज खान का निधन हो गया है। इस खबर ने फिल्म इंडस्ट्री और फैंस को गहरे शोक में डाल दिया है। फिरोज खान, जिन्होंने अपने करियर में कई बार अमिताभ बच्चन की तरह दिखने और उनकी नकल करने के चलते नाम कमाया, अब हमारे बीच नहीं रहे। आइए जानते हैं उनके जीवन की कहानी और कैसे वे फिरोज खान से अमिताभ बच्चन बन गए।
प्रारंभिक जीवन और संघर्ष
फिरोज खान का जन्म एक सामान्य परिवार में हुआ था। बचपन से ही वे सिनेमा के दीवाने थे और उनका सपना था कि वे बड़े पर्दे पर आएं। उनका चेहरा अमिताभ बच्चन से काफी मिलता-जुलता था, लेकिन उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि यह उनके करियर में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
कैसे बने अमिताभ बच्चन के हमशक्ल
फिरोज खान की जिंदगी में एक बड़ा मोड़ तब आया जब उन्होंने पहली बार अमिताभ बच्चन की फिल्म देखी। उनके दोस्तों और जानने वालों ने उन्हें बताया कि वे बिल्कुल अमिताभ बच्चन जैसे दिखते हैं। इस बात ने फिरोज के मन में एक ख्याल जगाया। उन्होंने अमिताभ बच्चन के स्टाइल, उनके बोलने का तरीका, चलने का अंदाज और उनके डायलॉग्स की नकल करनी शुरू कर दी।
फिल्मों में मौका
फिरोज खान की मेहनत रंग लाई और उन्हें फिल्मों में छोटे-छोटे रोल मिलने लगे। वे कई फिल्मों में अमिताभ बच्चन के बॉडी डबल के रूप में काम करने लगे। उनकी सबसे यादगार भूमिकाओं में से एक थी फिल्म 'डॉन' में, जहां उन्होंने अमिताभ बच्चन के खतरनाक स्टंट्स किए थे। इसके अलावा वे कई टीवी शो और विज्ञापनों में भी अमिताभ बच्चन के हमशक्ल के रूप में नजर आए।
पर्सनल लाइफ और संघर्ष
फिरोज खान की पर्सनल लाइफ भी काफी संघर्षों से भरी रही। अपने करियर के शुरुआती दिनों में उन्हें कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ा, लेकिन उन्होंने कभी हार नहीं मानी। वे हमेशा अपने काम को लेकर जुनूनी रहे और अपने परिवार का समर्थन हमेशा उनके साथ रहा।
अंतिम समय और निधन
फिरोज खान का स्वास्थ्य पिछले कुछ समय से ठीक नहीं था। उन्हें गंभीर बीमारियों का सामना करना पड़ रहा था और वे अस्पताल में भर्ती थे। उनकी मौत से फिल्म इंडस्ट्री में शोक की लहर दौड़ गई है। अमिताभ बच्चन ने भी उनके निधन पर शोक व्यक्त किया और कहा कि फिरोज उनके एक सच्चे प्रशंसक और दोस्त थे।
निष्कर्ष
फिरोज खान की कहानी प्रेरणादायक है। उन्होंने अपने जीवन में कई संघर्षों का सामना किया, लेकिन कभी हार नहीं मानी। उनकी मेहनत और अमिताभ बच्चन के प्रति उनका प्रेम ही उन्हें इस मुकाम तक ले आया। फिरोज खान का निधन एक युग का अंत है, लेकिन वे हमेशा अपनी अदाओं और अदाकारी के लिए याद किए जाएंगे।
फिरोज खान के निधन पर उनके परिवार, दोस्तों और फैंस को हमारी संवेदनाएं। उनकी यादें और उनका काम हमेशा हमारे दिलों में जीवित रहेंगे।
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